भारत, जहाँ एकता अखंडता की बात होती थीं लेकिन आजकी इस राजनीति ने भारत को कहाँ पहुंचा दिया है ये जग जाहिर है। भारत में एकता अखंडता की मिशालें पेश की जाती थीं लेकिन आज हम किस दौर से गुजर रहे हैं ये शायद ही कोई जानता हो। हम शिक्षा के मामले में कितने पिछड़े हुए हैं ये वर्ल्ड बैंक की एक रिपोर्ट ने साबित कर दिया था। अब ग्लोबल हंगर इंडेक्स में भी हम बहुत आगे हैं।
अगर भारत में किसी को गरीबी या भुखमरी नहीं दिखती तो वो दिल्ली के इलाकों में देख लें भारत के गाँवों में देख लें।
भूख भारत में गंभीर समस्या है। ग्लोबल हंगर इंडेक्स में भी भारत 100वें स्थान पर पहुंच गया है। इस सूची में भारत पिछले साल से तीन पायदान नीचे खिसक गया है। पिछले वर्ष भारत 119 देशों के ग्लोबल हंगर इंडेक्स में 97वें पायदान पर था। इंटरनेशनल फूड पॉलिसी रिसर्च इंस्टीट्यूट ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि 31.4 स्कोर के साथ भारत का साल 2017 का ग्लोबल हंगर इंडेक्स अंक ऊंचाई की तरफ और गंभीर श्रेणी में है।
साथ ही रिपोर्ट में कहा गया है कि बच्चों में कुपोषण की उच्च दर से देश में भूख का स्तर इतना गंभीर है और सामाजिक क्षेत्र को इसके प्रति मजबूत प्रतिबद्धता दिखाने की जरूरत है। रिपोर्ट के अनुसार दक्षिण एशिया इस साल ग्लोबल हंगर इंडेक्स में सबसे खराब प्रदर्शन करने वाले क्षेत्रों में से एक है।
इस लिस्ट में समूचे एशिया में सिर्फ अफगानिस्तान और पाकिस्तान ही भारत से पीछे हैं। इस लिस्ट में पाकिस्तान 106वें स्थान पर और अफगानिस्तान 107वें स्थान पर हैं। वहीं भारत इस लिस्ट में उत्तर कोरिया, बांग्लादेश, नेपाल और म्यांमार जैसे देशों से भी पीछे है। रिपोर्ट के अनुसार इस लिस्ट में चीन 29वें स्थान पर, नेपाल 72, म्यांमार 77, श्रीलंका 84 और बांग्लादेश 88वें स्थान पर हैं।