गुजरात को लेकर कांग्रेस का कहना है कि इस बार गुजरात में भाजपा की लहर बिलकुल भी नहीं है लोग बीजेपी से नाराज नज़र आ रहे हैं। पीएम मोदी की जनसभाओं में भीड़ नदारद है। राहुल गांधी जहां जा रहे हैं वहाँ भीड़ ही भीड़ नज़र आ रही है। कांग्रेस के मुताबिक उनके साथ पाटीदार नेता हार्दिक पटेल, ओबीसी नेता अल्पेश ठाकोर और दलित नेता जिग्नेश मेवाणी उनके साथ हैं और गुजरात के नाराज़ लोगों का हाथ कांग्रेस के साथ है। तो गुजरात में कांग्रेस की जीत निश्चित है..
तो मेरा कांग्रेस के नेताओं से कहना है कि दिन में बंद आंखों से सपने देखना बुरी बात होती है। तुम्हारी मेहनत बेकार है.. तुम हार्दिक, जिग्नेश, अल्पेश के साथ-साथ पूरी गुजरात की जनता को ले आओ तुम तब भी गुजरात नहीं जीत सकते।
क्या तुम यूपी के नगर निकाय चुनावों के परिणामों से वाकिफ नहीं हो.. वोट किसी और को गया भाजपा को.. बटन दबाया हाथी का दबा कमल का।
यही सच्चाई है। कुछ भी हो जीत भाजपा की ही पक्की है। भाजपा बेशक गुजरात में आज गुजरातियों की पहली पसंद भले ना हो लेकिन गुजरात को मजबूरन ही सही.. भाजपा को स्वीकार ही करना होगा।
वो जीएसटी की दरें 28 नहीं 48% भी कर दें तब भी वही जीतेंगे.। भले राम मंदिर मिथ्या हो वहीं जीतेंगे.. भले नोटबंदी में सैंकड़ो लोग मारे गए हों.. लोगों को मुश्किलों का सामना करना पड़ा हो जीतेंगे वही.. भले राफेल डील में उन्होंने कुछ भी किया हो तो दूध के धुले तो तुम भी नहीं जीतेंगे वही.. भले मोदी जी देश को छोड़ विदेशों में घूमे हों.. भले भारत में कोई निवेश न आया हो जीतेंगे वही…। लोग भूंखें मरे या प्यासे.. कुछ भी हो जाये जीतेंगे यही..।
भले ये दूसरों को कितना बुरा भला कह लें.. तुमने कुछ भी बोला तो जीतेंगे वही.. इन्हें तो जीत का बहाना चाहिए..।
लोग पहले भी भूंखें मरते थे.. घोटाले पहले भी होते थे.. तो क्या हुआ जीतेंगे वही..।
जीत की आदत बना चुकी भाजपा हर हालत में गुजरात चुनाव भी जीतकर ही रहेगी…
आजके चुनावी हाईलाइट देख लीजिए..। दूध का दूध पानी का पानी हो जाएगा।
पहली ख़बर: पोरबंदर में चुनाव आयोग की एक टीम को पोलिंग बूथ पर पहुंचना पड़ा। वहां के लोगों ने शिकायत की थी कि ईवीएम ब्लूटूथ से कनेक्ट थी।
दूसरी खबर: वित्तमंत्री अरुण जेटली ने कहा कि बीजेपी आराम से जीत जाएगी क्योंकि कांग्रेस की चुनावी रणनीति फेल हो गई है।
तीसरी ख़बर : बीजेपी नेता रेशमा पटेल जब जूनागढ़ में वोट डालने पहुंची तो वहां मौजूद पटेल समाज के एक ग्रुप ने हंगामा किया। क्योंकि रेशमा पहले हार्दिक पटेल के साथ थीं, जैसे ही भाजपा ने उन्हें टिकट का लालच दिया वैसे ही ठीक चुनाव से पहले उन्होंने बीजेपी ज्वॉइन कर ली।
चौथी ख़बर : यूपी नगर निकाय चुनावों की तरह गुजरात विधानसभा चुनावों में कुछ जगहों पर ईवीएम खराब होने की खबर भी आई लोगों ने आरोप लगाया कि वोट किसी और को कर रहे हैं जा भाजपा को रहा है.. अब इसको चुनाव आयोग के अधिकारी ने तकनीकी खराबी बता रहे हैं।
पांचवी ख़बर : गुजरात में शनिवार को जारी पहले चरण के मतदान के दौरान ईवीएम में गड़बड़ी की बात सामने आई है। कांग्रेस ने कई जगहों पर ईवीएम मशीन में गड़बड़ी की शिकायत की है।
छटवीं ख़बर : कांग्रेस ने पोरबंदर में कुछ जगहों पर ईवीएम के वाई-फाई से कनेक्ट होने की भी शिकायत की है। वहीं बीजेपी ने इसको बेबुनियाद करार देते हुए कांग्रेस की बौखलाहट करार दिया है।
सातवीं ख़बर : कांग्रेस नेता शक्ति सिंह गोहिल ने आरोप लगाते हुए कहा कि वह ईवीएम में गड़बड़ी की शिकायत चुनाव आयोग से करेंगे। उन्होंने कहा, ‘कुछ जगहों पर ईवीएम में गड़बड़ी की खबर है, कहीं मशीनों में खराबी की वजह से मतदान शुरू होने में देरी हुई।’ उन्होंने कहा कि अभी तक 16 जगहों से ईवीएम में गड़बड़ी की खबरें सामने आईं। पोरबंदर से 8, अंबरेली से 3, वलसाड से 5 बूथों में गड़बड़ी की खबर सामने आई है।
आठवीं ख़बर : बीजेपी प्रवक्ता संबित पात्रा ने कांग्रेस के इन आरोपों को बेबुनियाद बताते हुए कहा, ‘अभी मतदान खत्म भी नहीं हुआ और पहले चरण का मतदान चल रहा है। सुबह-सुबह ईवीएम पर हमला कर कांग्रेस ने अपनी हताशा और बौखलाहट का परिचय दे दिया है। उनकी हार स्पष्ट है और यह उनके चेहरे पर लिखा हुआ है। वे ईवीएम के पीछे अपनी हार को छिपाने की कोशिश कर रहे हैं।
नैवीं ख़बर : सूरत के वराछा में सरदार पटेल विद्यालय में बने बूथ पर ईवीएम मशीन के खराब होने की बात सामने आई, जिसे बदल दिया गया। यहां पर चुनाव आयोग के मास्टर ट्रेनर विपुल गोटी ने कहा, ‘हमने दो ईवीएम और एक वीवीपीएटी बदलीं हैं। इसे कोई तकनीकी खराबी नहीं कह सकते, ये इलेक्ट्रॉनिक सामान है, इसमें कुछ दिक्कत हो सकती है। अब सब ठीक है और वोटिंग शुरू हो चुकी है।’
दसवीं ख़बर : आम आदमी पार्टी ने ईवीएम में गड़बड़ी का मुद्दा एक बार फिर उठाया। आप के मुताबिक उत्तर प्रदेश के स्थानीय निकाय चुनाव में बीजेपी की जीत के लिए वोटिंग मशीन जिम्मेदार है। वहीं गुजरात में भी जीतेगी। जहाँ ईवीएम वहां बीजेपी शेर, जहां मतपत्र वहां ढेर..।
ईवीएम है जहाँ बीजेपी है वहाँ।
अब भरोसा करें तो करें किस पर.. सब ईवीएम का खेल हो रहा है। भाजपा की जीत निश्चित है फिर चुनाव किस वजह से हो रहा है और इन चुनावों पर ऐसे पैसा क्यों बर्बाद हो रहा है। भाजपा की जीत हो चुकी है तो परिणाम का इंतजार क्यों.. समय काहे बर्बाद करना.. डिक्लेयर कर दो भैया..।
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